माँ की ममता को सलाम:शाह अज़मतुल्लाह अबुसईद

रज़िया बेगम हैदराबाद ने 1400 किलोमीटर की दूरी खुद स्कूटी से पूरा कर अपने लखते जिगर को अपने पास ले आई और इस बीमारी को मात देते हुए।

मुझे पूरी उम्मीद है के इस दुनिया में माँ जब तक रहेगी ये दुनिया को बचाएगा।

माँ की दुआओं से अल्लाह/ईश्वर इस महामारी से हम सबकी हिफाज़त करेगा।
हम सबको अपने अंदर के इंसान को ज़िंदा करने का वक़्त है।

अपनी ज़िंदगी को आसान और सदा बनाने की ज़रूरत है।
घर पर ही रहें और अल्लाह/ईश्वर से मांगते रहें बड़ा दाता है वो वो हमारी ज़रूर सुनेगा।

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